प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फ्रांस के दौरे पर हैं. यहां वह AI एक्शन समिट में शामिल होंगे. इसके बाद उनकी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के साथ द्विपक्षीय वार्ता भी होगी, जिसमें 2047 के लिए भारत-फ्रांस की रणनीतिक साझेदारी के रोडमैप पर चर्चा की जाएगी. इस बातचीत में फ्रेंच राष्ट्रपति मैक्रों पीएम मोदी के साथ भारत के मल्टी-बैरल रॉकेट सिस्टम को लेकर भी डील कर सकते हैं. ऐसा पहली बार होगा, जब भारत का दूसरा सबसे बड़ा हथियार आपूर्तिकर्ता देश उससे ही हथियार खरीदेगा.
भारत दुनिया का सबसे ज्यादा हथियार खरीदने वाला देश है, लेकिन मेक इन इंडिया के तहत उसने अपने हथियारों के उत्पादन पर भी बढ़ावा दिया है. इतना ही नहीं भारत अपने रक्षा निर्यात को लगातार बढ़ा भी रहा है. वियतनाम, फिलिपींस के बाद इंडोनेशिया भी भारत के साथ रक्षा डील करना चाहता है. इस बीच फ्रांस ने भी भारत के पिनाका रॉकेट सिस्टम में दिलचस्पी दिखाई है.
फ्रांस के डेलीगेशन ने देखा था रॉकेट सिस्टम
भारत के डीआरडीओ में मिसाइलों और रणनीतिक प्रणालियों के महानिदेशक उम्मालनेनी राजा बाबू ने न्यूज एजेंसी रॉयटर्स को बताया है कि फ्रांस पिनाका के लिए सक्रिय रूप से बातचीत कर रहा है. उन्होंने आगे कहा कि हालांकि अभी तक इसको लेकर कोई डील नहीं हुई है, लेकिन बातचीत जारी है. रिपोर्ट में ये भी कहा गया है कि करीब तीन महीने पहले फ्रांस से आए एक डेलीगेशन को पिनाका रॉकेट सिस्टम दिखाया गया था, जोकि उन्हें पसंद आया था.
AI समिट के बाद हो सकती है मोदी और मैक्रों के बीच बातचीत
फ्रांस की पिनाका रॉकेट सिस्टम में दिलचस्पी की जानकारी ऐसे समय में सामने आई है, जब पीएम मोदी फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के साथ एआई शिखर सम्मेलन की सह-अध्यक्षता करने के लिए फ्रांस के दौरे पर हैं. एआई समिट के बाद दोनों नेताओं के बीच द्विपक्षीय वार्ता की भी उम्मीद है. हालांकि ये साफ नहीं है कि बातचीत में रॉकेट सिस्टम शामिल होगा या नहीं.
क्या है पिनाका रॉकेट सिस्टम की खासियत?
पिनाका का नाम भगवान शिव के धनुष ‘पिनाक’ के नाम पर रखा गया है. पिनाका रॉकेट सिस्टम डीआरडीओ द्वारा विकसित किया गया है. यह 44 सेकेंड में 12 रॉकेट लॉन्च करता है यानी करीब 4 सेकेंड में एक रॉकेट छूटता है. दुश्मन के ठिकाने को नेस्तनाबूद करने के लिए ये सबसे बेहतरीन हथियार है. इसकी रेंज 7 किमी के नजदीकी टारगेट से लेकर 90 किमी दूर बैठे दुश्मन को खत्म करने की है. इस रॉकेट लॉन्चर के तीन वैरिएंट हैं. MK-1, जोकि 45 किमी तक टारगेट करता है. उसके बाद MK-2, जो 90 किमी तक दुश्मन को टारगेट करता है. उसके बाद MK-3 लॉन्चर है, जोकि अभी निर्माणाधीन है. इसके जरिए 120 किमी दूर बैठे दुश्मन को टारगेट कर सकते हैं. इसकी रेंज को 120 से बढ़ाकर 300 किमी तक करने की योजना पर DRDO काम कर रहा है. पिनाका के सटीक हमला करने की क्षमता की वजह से बड़े-बड़े देश इसे सबसे एडवांस्ड आर्टिलरी रॉकेट सिस्टम में शामिल करते हैं.
कितनी है पिनाका रॉकेट की स्पीड?
इतना ही नहीं इस लॉन्चर से छोड़े जाने वाले पिनाका रॉकेट के ऊपर हाई एक्सप्लोसिव फ्रैगमेंटेशन (HMX), क्लस्टर बम, एंटी-पर्सनल, एंटी-टैंक और बारूदी सुरंग उड़ाने वाले हथियार लगाए जा सकते हैं. इसके अलावा ये रॉकेट 100 किलो तक के हथियार उठाने में भी सक्षम हैं. पिनाका रॉकेट की स्पीड 5757.70 किमी/घंटा है यानी इससे दागा गया रॉकेट एक सेकेंड में 1.61 किमी की स्पीड से हमला करता है.
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