सीओपी-26 के लिए स्कॉटलैंड पहुंचे पीएम मोदी, ब्रिटिश प्रधानमंत्री जॉनसन के साथ करेंगे द्विपक्षीय वार्ता
रोम में आयोजित हुए जी20 शिखर सम्मेलन में सिलसिलेवार बैठकों में शामिल होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अब स्कॉटलैंड के ग्लासगो पहुंच गए हैं. ग्लासगो में भारतीय समुदाय ने पीएम मोदी का जोरदार स्वागत किया. इस दौरान भारतीय समुदाय के लोगों ने ‘मोदी है भारत का गहना’ गाना भी गाया.
अपने यूरोप दौरे के दूसरे पड़ाव में पीएम मोदी जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र के रूपरेखा समझौते के लिए पक्षकारों के 26वें शिखर सम्मेलन (सीओपी-26) में शामिल होंगे. इस सम्मेलन के इतर वह ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन के साथ द्विपक्षीय संवाद भी करेंगे. यह प्रधानमंत्री के तौर पर मोदी की पहली स्कॉटलैंड यात्रा है.
ग्लासगो में वैश्विक शिखर सम्मेलन के लिए स्कॉटिश इवेंट कैंपस (एसईसी) में होने जा रहे जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र के रूपरेखा समझौते (यूएनएफसीसीसी) के लिए पक्षकारों के 26वें शिखर सम्मेलन (सीओपी-26) में वैश्विक नेताओं के सम्मेलन (डब्ल्यूएलएस) में पीएम मोदी समेत 120 विभिन्न सरकारों के प्रमुख और राष्ट्र प्रमुख शामिल होंगे. मंगलवार तक की अपनी तीन दिवसीय ब्रिटेन यात्रा के दौरान मोदी सीओपी-26 सम्मेलन को संबोधित करेंगे और सोमवार को दोपहर बाद के एक सत्र में भारत की जलवायु कार्रवाई योजना के बारे में राष्ट्रीय बयान जारी किया जाएगा.
G20 सम्मेलन ‘लाभप्रद’ रहा- पीएम मोदी
एक दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को रोम में संपन्न जी-20 शिखर सम्मेलन को ‘फलदायी’ करार दिया है. उन्होंने कहा कि विश्व नेताओं ने वैश्विक महत्व के अहम मुद्दों जैसे महामारी से लड़ाई, स्वास्थ्य अवसंरचना में सुधार, आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देने और नवोन्मेष पर विस्तृत चर्चा की.
पीएम ने ट्वीट किया, ‘रोम में जी-20 फलदायी शिखर सम्मेलन के बाद ग्लासगो के लिए रवाना हो रहा हूं. सम्मेलन के दौरान हम वैश्विक महत्व के मुद्दों जैसे महामारी के खिलाफ लड़ाई, स्वास्थ्य अवसंरचना में सुधार, आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देना एवं आगे के नवोन्मेष पर विस्तृत चर्चा कर सके.’ जी-20 में भारत के शेरपा पीयूष गोयल ने रविवार को बताया कि जी-20 नेता इस बात पर सहमत हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन कोविड-19 टीके को आपात मंजूरी देने की प्रक्रिया को तेज करने से मजबूत होगा.
कोविड टीके की आपूर्ति बढ़ाने का संकल्प
कोविड महामारी के खिलाफ लड़ाई के हथियारों में टीको को एक अहम हथियार रेखांकित करते हुए पीएम मोदी सहित जी-20 देशों के नेताओं ने रविवार को विकासशील देशों को टीके की आपूर्ति बढ़ाने और बाधाओं को दूर करने का संकल्प लिया था. इसके साथ ही जी-20 नेताओं ने 2021 के अंत तक कम से कम 40 फीसदी और 2022 के मध्य तक 70 फीसदी आबादी के टीकाकरण के वैश्विक लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए वित्तीय सहायता पर सहमति जताई.
इटली की राजधानी रोम में आयोजित जी-20 समूह के सम्मेलन में सदस्य देशों के नेताओं ने घोषणापत्र जारी करके कोविड से निपटने के प्रयासों के लिए स्वास्थ्य सेवा एवं अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ताओं, अंतरराष्ट्रीय संगठनों एवं वैज्ञानिकों को धन्यवाद दिया. जी-20 ने कहा, ‘उन्हें साल 2022 में इंडोनेशिया, साल 2023 में भारत में और 2024 में ब्राजील में दोबारा बैठक को इंतजार है.’